अमित चोपड़ा बने बालोद कॉलेज के जनभागीदारी समिति के अध्यक्ष, 2003 से आए थे छात्र राजनीति में, जानिए उनका अब तक का राजनीतिक सफर
बालोद। बालोद नगर के रहने वाले 39 वर्षीय अमित चोपड़ा को बालोद शासकीय घनश्याम सिंह गुप्त कॉलेज का जनभागीदारी समिति का अध्यक्ष बनाया गया है। देर शाम को कलेक्टर द्वारा बालोद जिले के सभी 16 शासकीय कॉलेज के जनभागीदारी समिति के अध्यक्षों के नाम से संबंधित आदेश जारी किया गया। जिनका अनुमोदन जिले के प्रभारी मंत्री विजय शर्मा द्वारा की गई है। वर्तमान में अमित चोपड़ा भाजपा जिला अध्यक्ष पवन साहू के कार्यकारिणी में भाजपा जिला मंत्री के पद पर हैं।दरअसल में उक्त नियुक्ति के लिए प्राथमिक स्तर पर नाम मंडल से भेजा जाता है। फिर मंडल से भाजपा जिला अध्यक्ष अनुशंसा फिर प्रभारी मंत्री को भेजा जाता है। प्रभारी मंत्री द्वारा अनुमोदन के बाद पत्र कलेक्टर को आता है और यही आदेश के रूप में जारी होता है। अमित चोपड़ा को अध्यक्ष बनाए जाने से पूरे नगर में हर्ष का माहौल है। उन्हें बधाई देने ताता लगा हुआ है। लगातार युवाओं के हित में काम करने वाले अमित चोपड़ा के इस नियुक्ति से कॉलेज के युवाओं में नई ऊर्जा का संचार हुआ है और उनके अनुभव का फायदा आज की युवा पीढ़ी को भी मिलेगा। उनकी नियुक्ति पर हमने उसे खास बातचीत कर उनके छात्र जीवन से लेकर अब तक के राजनीतिक सफर के बारे में जाना। उन्होंने बताया कि 2002-03 से वे छात्र राजनीति में आए। 2002 में वे अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से जुड़े थे। इस बीच 2003 में वे अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के नगर अध्यक्ष बने। अगले ही वर्ष 2004 में उन्हें अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के तहत कॉलेज का अध्यक्ष चुन लिया गया। तब से वे छात्र हित के लिए कार्य करते आ रहे हैं। धीरे-धीरे उनकी राजनीतिक पकड़ और नेतृत्व क्षमता और अनुभव बढ़ते गए और उन्होंने छात्र राजनीति से भारतीय जनता पार्टी की राजनीति में कदम रखा। शुरुआत में उन्हें भाजयुमो का बालोद शहर अध्यक्ष बनाया गया। फिर उनकी मेहनत रंग लाई और फिर पार्टी ने उन्हें भारतीय जनता युवा मोर्चा के जिला अध्यक्ष की कमान भी सौंप दी। 2016 में इस पद पर रहे और उनके नेतृत्व में एक समय ऐसा भी आया जब कई सालों तक कॉलेज में चुनाव नहीं हुए थे और फिर चुनाव प्रक्रिया शुरू हुई तो बालोद जिले के 16 से 17 कॉलेज की जिम्मेदारी उन्हें मिली थी। उनके नेतृत्व और मार्गदर्शन में 14 कॉलेज में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की जीत हुई थी। इस तरह उन्होंने भारतीय जनता युवा मोर्चा के जिला अध्यक्ष की कमान संभालते हुए भी अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यों में अपनी पकड़ मजबूत बनाए रखी। छात्र हित के लिए वे काम करते रहे और इसी का नतीजा अब सामने आया। उनकी कर्मठता को अब जाकर भाजपा सरकार ने पुरस्कृत किया और भाजपा जिला अध्यक्ष के साथ प्रभारी मंत्री विजय शर्मा के अनुमोदन और कलेक्टर के आदेश के साथ वे जन भागीदारी समिति के अध्यक्ष बन गए हैं।
कॉलेज की मूलभूत समस्या सुलझाना उनकी पहली प्राथमिकता
अमित चोपड़ा ने बताया कि कॉलेज में वर्तमान में जो भी मूलभूत समस्या है उन्हें सुलझाना उनकी पहली प्राथमिकता है। उन्होंने बालोद कॉलेज में खासतौर से ऑडिटोरियम हॉल की कमी है। कोई भी बड़ा आयोजन होता है तो दिक्कत होती है। इस बात को लेकर वे प्रयास करेंगे कि कम से कम एक ऑडिटोरियम बनवा सके। इसके अलावा कॉलेज में प्रोफेसर्स की कमी को लेकर भी उन्होंने कहा कि जनभागीदारी से तो नियुक्ति की जाएगी। शासन स्तर से स्थाई नियुक्ति के लिए भी हम प्रयास करेंगे। चाहे इसके लिए मंत्री, प्रभारी मंत्री या मुख्यमंत्री तक भी जाएंगे। स्टाफ की कमी को दूर कर छात्रों को अच्छी गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दिलाने का पूरा प्रयास किया जाएगा । पढ़ाई का स्तर सुधारने के लिए काम होगा। वही जन भागीदारी फीस को लेकर उन्होंने कहा कि इस पर अभी वे कुछ नहीं कह सकते। अभी वे पदभार ग्रहण करेंगे और कॉलेज जाकर वस्तु स्थिति को समझेंगे और जहां जरूरत पड़ी छात्र हित में अगर फीस कम करने की स्थिति बनती है तो वह भी जरूर करेंगे या फीस इतनी रखी जाएगी कि किसी छात्र को फीस जमा करने में दिक्कत का सामना न करना पड़े।
कार्यकाल नहीं होता है निश्चित
अमित चोपड़ा ने कहा कि जनभागीदारी समिति अध्यक्ष का कार्यकाल कितने वर्ष का होगा यह कोई निश्चित नहीं है। अमूमन जब तक जिसकी सत्ता रहती है तब तक यानी लगभग 5 साल तक कार्यकाल रह ही जाता है। जैसे मुझसे पहले तोमन साहू 5 साल तक अध्यक्ष रहे। राकेश यादव जी 6 साल तक अध्यक्ष रह चुके हैं। इसके अलावा कोई दो कोई चार साल तक अध्यक्ष रहे हैं। ऐसा कोई निश्चित नहीं है। उन्होंने कहा कि अपने पूरे कार्यकाल में वे छात्र हित और कॉलेज के स्तर को सुधारने को लेकर काम करेंगे। उन्होंने स्पष्ट कहा कि बालोद कॉलेज जिला मुख्यालय का कॉलेज है। जिले के अनुरूप उसे ढालने और उसे अपग्रेड करने का काम वे करेंगे यह उनका विशेष उद्देश्य रहेगा।