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छोटे से गांव से निकलकर राष्ट्रीय युथ कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव बनने वाले पूर्णचंद्र कोको पाढ़ी बने युवाओं के लिए रोल मॉडल

लोकसभा चुनाव में बालोद जिले के युवा कांग्रेसी भी ले रहे उनसे मार्गदर्शन

बालोद। विधानसभा चुनाव के बाद अब राष्ट्रीय पार्टियों का अगला मुकाम लोकसभा चुनाव है। ऐसे में कांग्रेस इस बार एड़ी चोटी एक कर सत्ता वापस पाने की दौड़ में लग गई है। लोकसभा चुनाव में युवाओं को रिझाने का प्रयास शुरू हो चुका है ।ऐसे में युवा कांग्रेस की भूमिका अहम हो जाती है। बालोद जिला युवा कांग्रेस भी लोकसभा चुनाव की तैयारी में जुटा हुआ है। तो इस मौके पर वे अपने प्रेरणा स्रोत और वरिष्ठों से मार्गदर्शन भी ले रहे हैं। इन दोनों बालोद जिले के युवा कांग्रेस सहित पूरे छत्तीसगढ़ के युवाओं के लिए प्रेरणा स्रोत के रूप में भानु प्रतापपुर के युवा नेता पूर्णचंद्र कोको पाढ़ी का चेहरा सामने आया है। जो की एक छोटे से गांव से निकलकर आज दिल्ली तक अपनी मुकाम बना चुके हैं। कुछ महीने पहले उन्हें राष्ट्रीय युथ कांग्रेस का महासचिव का पद भी दिया गया है। बालोद जिले के युवाओं के लिए वे प्रेरणास्रोत बने हुए हैं। यहां के युवा नेता उनसे मार्गदर्शन लेकर राजनीतिक रणनीति पर कार्य करते हैं।बालोद के युवा कांग्रेस नेताओं का कहना है कि कांग्रेस पार्टी में अगर ठीक से मेहनत करें तो छोटे से गांव का व्यक्ति भी बड़े से बड़े मुकाम तक आसानी से पहुंच सकता है। इसका प्रत्यक्ष उदाहरण कोको पाढ़ी है। पूर्णचंद्र कोको पाढ़ी के नेतृत्व का लाभ जिला कांग्रेस और युवा कांग्रेस को मिलने लगा है। ज्ञात हो कि लंबे समय से यूथ कांग्रेस का नेतृत्व पूर्ण कोको पाढ़ी कर रहे है। जिन्हें बालोद जिले के युवा कांग्रेसी भी अपना प्रेरणा स्रोत मानते हैं। समय-समय पर उनका आगमन बालोद जिले में हुआ है और उनका मार्गदर्शन मिलते आया है। कई बड़े-बड़े आंदोलन उनके दिशा निर्देशन में हुए हैं । कोको का जीवन कांग्रेस पार्टी के लिए समर्पित है। कांग्रेस पार्टी देश की सबसे पुरानी और सबसे बड़ी पार्टी है, जहा कांग्रेस में कुछ ऐसे युवा चेहरे है जिन्होंने सब कुछ अपना त्याग कर सिर्फ पार्टी की सेवा और पार्टी की विचारधारा के लिए कार्य किया ऐसे मुकाम में पहुँचे। जहां उनकी मेहनत और उनकी लगन को जगह मिलती है। ऐसे ही कुछ विशेष व्यक्तित्व के हैं भानुप्रतापुर के गांव में जन्मे पूर्णचन्द्र कोको पाढ़ी । जिन्हे पूरा देश आज कोको पाढ़ी के नाम से जानता है। साधारण परिवार में जन्मे कोको पाढ़ी जी ने कांग्रेस पार्टी में ब्लॉक युवा कांग्रेस अध्यक्ष से अपनी जीवन की शुरुआत की और विधानसभा अध्यक्ष,लोकसभा अध्यक्ष, उसके बाद राष्ट्रीय सचिव, उसके बाद प्रदेश अध्यक्ष एवं अब राष्ट्रिय महासचिव (संगठन ) के रूप में आज देश भर के युवाओ को कांग्रेस पार्टी की विचारधारा से जुड़ने का कार्य किया और आज भी घर परिवार से दूर भारत जोड़ो न्याय यात्रा में राहुल गाँधी जी के साथ कदम से कदम मिलाकर इस यात्रा में जुड़े हुए है।

यूथ कांग्रेस अध्यक्ष कांकेर के लोकसभा के निर्वाचित अध्यक्ष पद से शुरुआत करने वाले कोको का राजनीतिक करियर दिल्ली तक पहुंचा है। सन 2003 में जब कांग्रेस को बहुमत से जनता ने नकारा तो इसके बाद कोको पाढ़ी ने संगठन को मजबूती देने का काम किया। इसे देखते हुए संगठन ने उन्हें यूथ कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी दी थी। साल बीतते गए, संघर्ष के दौर चलते रहे और आज यूथ कांग्रेस के राष्ट्रीय नेतृत्व में कोको अपने घर परिवार छोड़कर आज भी संगठन को सर्वोपरि मानते हुए अपने कर्तव्य का निर्वहन कर रहे हैं और इसी के बदौलत उन्हें युवा कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रभारी कृष्णा अल्लावारु राष्ट्रीय अध्यक्ष बीवी जी ने भरोसा जताते हुए उन्हें युवा कांग्रेस की कई मुहिम को आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी सौपी है। जिसे वे आगे बढ़ाने का कार्य कर रहे है। अपनी राजनितिक जीवन में निष्पक्ष रहने वाले कोको पाढ़ी लगातार हर प्रदेश हर जिले में नए नए युवाओ को नेतृत्व करने के लिए प्रेरित कर रहे है ।उससे आने वाले समय में कांग्रेस को बहुत मजबूती मिलेगी। कांग्रेस पार्टी में ऐसे और भी युवा है जिनको आगे बढ़ाने का श्रेय वो श्री राहुल गाँधी , मल्लिकार्जुन खड़गे एवं कृष्णा सर,श्रीनिवास को देते है, उनका कहना है कि कांग्रेस पार्टी हर वर्ग के युवाओ को आगे बढ़ा रही है। मेरा सौभाग्य है की मै कांग्रेस पार्टी के साथ हूं और शीर्ष नेताओ की वजह से इस जगह में हूं। विपक्ष में रहते सदन से लेकर सड़क तक की लड़ाई में भी इस युवा नेता के ऊपर हुए काफी एफआईआर छत्तीसगढ़ में सक्रिय भूमिका निभाते हुए काफी चोटे इनको प्रदर्शन में आयी फिर प्रदेश अध्यक्ष के रूप में एक एक ब्लॉक से इन्होने छत्तीसगढ़ में कांग्रेस को मजबूत बनाने का कार्य किया,। अब दिल्ली प्रभारी के रूप में निरन्तर बड़े प्रदर्शन लोकसभा घेराव में युवाओ के साथ आंदोलन में दिल्ली में दर्ज हुए केस, लेकिन उनका कहना है की जब देश की आज़ादी में महात्मा गाँधी जी राजीव गाँधी जी भगत सिंह सुभाष चंद्र बोष अपना बलिदान दे सकते है तो मै तो कांग्रेस पार्टी का एक छोटा सा सिपाही हूं, अगर ये बलिदान आज के समय में एक विचारधारा को तोड़ने में काम आ गया तो मै अपने जीवन को सफल मानूंगा, और आने वाली पीढ़ी को कांग्रेस पार्टी के योगदानो को बताने में पीछे नहीं हटूंगा।

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